कम कीमत पर मक्का बेचने को विवश हैं किसान

मुंगेर।लॉकडाउनमेंछूटदिएजानेकेबादभीबाहरसेव्यवसायीनहींआरहेहैं।इसकारणमक्काउत्पादककिसानपरेशानहैं।बाहरीव्यवसायियोंकेनहींआनेकेकारणकिसानस्थानीयव्यवसायियोंकेहाथोंकमकीमतपरमक्काबेचनेकोविवशहैं।जगहकीकमीकेकारणकिसानअपनीतैयारफसलकोसुरक्षितनहींरखपारहेहैं।इसकारणमजबूरीमेंकमकीमतपरहीअपनीतैयारफसलकोबेचरहेहैं।किसानमंटूसिंह,कमलेश्वरीमंडल,विदेश्वरीशर्मा,सुशीलशर्मा,कपिलमंडल,प्रकाशमंडलआदिनेकहाकिजिनकिसानोंनेअपनीमक्काकीफसलकोकाटकरतैयारीकरलीहै,अबउन्हेंफसलकोबेचनेकीचितासतारहीहै।सरकारद्वारालगाएलॉकडाउनकेकारणबाहरसेव्यवसायीमक्काकीफसलखरीदनेकेलिएगांवनहींआरहेहैं।जिसकेकारणकिसानअपनीफसलकोकमकीमतपरस्थानीयव्यापारियोंकेपासबेचनेकेलिएविवशहैं।पिछलेसालमक्का22सौरुपयाप्रतिक्विटलकीदरसेबिकाथा।जिसकेकारणबहुतसारेकिसानोंनेदियारामेंअधिकरकवामेंमक्काकीखेतीकीथी।लेकिन,कोरोनासंकटनेकिसानोंकेअरमानोंपरपानीफेरदिया।स्थानीयव्यापारी1000से11सौरुपयेप्रतिक्विटलकीदरसेमक्काखरीदरहेहैं।जिनकिसानोंकोमक्कारखनेकेलिएजगहनहींहै,वहलाचारहोकरकमकीमतपरअपनेतैयारमक्काकोबेचरहेहैं।सरकारगेहूंकीखरीदकेलिएपैक्सकोअधिसूचितकियाहै।लेकिनमक्काकेलिएऐसाकोईप्रावधाननहींकियागयाहै।जिसकेकारणकिसानलाचारऔरमजबूरहैं।