गोरखपुर,जितेन्द्रपाण्डेय।खजनीविकासखंडक्षेत्रमेंशत्रुराष्ट्रचीनकेउत्पादकोचूड़ीवालेहाथमातदेरहेहैं।यहांकरीबदर्जनभरमहिलाएंदीपावलीकेमौकेपरस्वदेशीझालरऔरएलईडीबल्बतैयारकरतीहैंऔरबाजारमेंउसकीबिक्रीकरतीहैं।पिछलीबारदीपावलीपरमहिलाओंनेकरीबदोहजारझालरतैयारकियाथा।यहहाथोंहाथबिकगयाथा।इनझालरोंकीबिक्रीकेबादमरम्मतकीभीगारंटीरहतीहै।इसलिएइनझालरोंकीमांगअधिकहै।
संगीताकीनेतृत्वमेंदर्जनभरसेअधिकमहिलाएंतैयारकरतीहैंझालर
महिलाओंकेइसग्रुपकीअगुवाहैंसंगीतादेवी।वहखजनीकेहीग्रामखुटभारकीनिवासिनीहैं।उन्होंनेदोवर्षपूर्वराष्ट्रीयआजीविकामिशनकेजरियेझालरवएलईडीबल्बबनानेकाप्रशिक्षणलियाथा।चाइनीजउत्पादोंकेबहिष्कारकीबातवहपिछलेकईवर्षोंसेवहसुनतेआरहीहैं।लेकिनइसपरआगेबढ़तेकमलोगनजरआरहेहैं।ऐसेमेंपिछलेवर्षउन्होंनेनिर्णयलियाकिक्योंनइसकीशुरुआतखुदसेहीकीजाए।गतवर्षदीपावलीसेदोमाहपूर्वउन्होंनेखुदकाझालरबनानेकानिर्णयलिया।इसकेपीछेउनकाउद्देश्यसिर्फरुपयेकमानानहीं,चीनकेसामानोंकाबहिष्कारकरनाथा।इसकेसाथहीसाथमहिलाओंकोआत्मनिर्भरबनानाथा।शुरुआतथोड़ीकठिनाईहुई,लेकिनगांवसेहीकरीबपांचमहिलाएंझालरबनानेकेलिएराजीहोगईंतोउन्होंनेकामशुरूकरदिया।पहलेमाहमेंसिर्फ500झालरोंकीबिक्रीकी।इससेउनकाथोड़ाहौसलाबढ़ातोअगल-बगलगांवकीछहमहिलाएंऔरतैयारहोगईं।इसकापरिणामअगलेमाहउन्होंनेडेढ़हजारझालरतैयारतैयारकरकेबेंचा।
100रुपयेंमेंबेंचतीहैंझालर
संगीतादेवीबतातीहैंकिउनकाझालरकरीब100रुपयेमेंबिकजाताहै।इसपरकरीब75रुपयेकीलागतआतीहै।झालरकीबिक्रीसेमहिलाओंकीथोड़ीबहुतआमदनीतोहुईही।सबसेबड़ीबातयहरहीकिजिनघरोंमेंइनझालरोंकाप्रयोगशुरूहुआ,वहघरचीनकेविरोधमेंएकअहमकड़ीबनेहैं।उन्होंनेकहाकिवहगांव-गांवमेंमहिलास्वयंसहायतासमूहबनानेकाभीकार्यकरतीहैं।झालरबनानेकेदौरानमिलेरुपयोंसेतमाममहिलाओंनेअपनेघरमेंसहयोगदियाहै।वहकहतीहैंलॉकडाउनकेदौरानघरपररुपयोंकीतंगीथीतोउन्होंनेभीअपनेदोनोंबच्चोंकीफीसभरीहै।
इसबारचारहजारझालरकरेंगीतैयार
संगीताकहतीहैंकिइसकोरोनाऔरलद्दाखकामुद्दासामनेहै।इसलिएऔरबड़ेपैमानेपरकामहोगा।उन्होंनेबतायाकिझालरवएलईडीबनानेकेलिएजहांसेसामानलेतींथीं।लॉकडाउनकेदौरानवहदुकानबंदहोगई।कारोबारीभीदिल्लीचलागयाहै।लेकिनचीनकेविरोधकोलेकरमहिलाएंदोगुनेउत्साहमेंहैं।कहींऔरसेसामानकीव्यवस्थाकीजाएगी।इसबारदीपावलीमेंचारहजारझालरेंतैयारकियाजाएगा।